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हिंदी दिवस: हिंदी भाषा, राष्ट्रवाद और व्यवहारिकता के बीच की कड़ी को समझें

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नई दिल्ली: आज 14 सितंबर को पूरा देश हिंदी दिवस मना रहा है। इसकी शुरुआत 1949 में हुई, जब हिंदी को राजभाषा का दर्जा मिला। 14 सितंबर 1949 को संविधान सभा ने फैसला किया कि हिंदी भारत की राजभाषा होगी। राजभाषा पर चर्चा के दौरान 13 सितंबर को तत्कालीन प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने कहा कि “किसी विदेशी भाषा से कोई राष्ट्र महान नहीं हो सकता। कोई भी विदेशी भाषा आम लोगों की भाषा नहीं हो सकती है। भारत के हित में, भारत को एक शक्तिशाली राष्ट्र बनाने के हित में, ऐसा राष्ट्र बनाने के हित में जो अपनी आत्मा को पहचाने, जिसमें आत्मविश्वास हो, जो संसार के साथ सहयोग कर सके, उसके लिए हमें हिंदी को अपनाना चाहिए।” पंडित नेहरू ने हिंदी भाषा को बढ़ावा देने के लिए हर साल 14 सितंबर को हिंदी दिवस मनाए जाने का ऐलान किया और पहला हिंदी दिवस 14 सितंबर 1953 को मनाया गया।

हिंदी भाषा और राष्ट्रवाद

विदेशों में अपनी मातृ भाषा में प्रोफेशनल एजुकेशन दी जाती है और इसी से प्रेरित होकर भारत में भी हिंदी भाषा में इंजीनियरिंग की पढ़ाई की शुरुआत की गई थी। लेकिन, ये कोशिश कामयाब नहीं हो सकी। भोपाल के अटल बिहारी वाजपेयी हिंदी विश्वविद्यालय ने साल 2016 में इसकी शुरुआत की। ये देश का पहला विश्वविद्यालय है, जहां हिंदी में इंजीनियरिंग की पढ़ाई की शुरुआत की गई।

राष्ट्रवाद से प्रेरित ये प्रयोग सफल नहीं हो सका और कई परेशानियों के चलते कोर्स बंद करना पड़ा। इसके बाद इन छात्रों को अन्य संस्थानों में एडजस्ट कर दिया गया। सिविल, इलेक्ट्रिकल और मैकेनिकल में कुल 90 सीटी के लिए आवेदन मांगे गए थे, लेकिन सिर्फ 12 छात्रों ने आवेदन किया था। छात्रों की कम संख्या और साथ ही कोर्स को ऑल इंडिया काउंसिल ऑफ टेक्निकल एजुकेशन की मंजूरी भी हासिल नहीं थी। इसलिए, इस बात की चर्चा ज़ोर पकड़ने लगी कि हिंदी में इंजीनियरिंग करने के बाद रोज़गार के अच्छे मौके नहीं मिल पाएंगे। इस मामले में तत्कालीन कुलपति ने कहा था कि विश्वविद्यालय का लक्ष्य सिर्फ रोज़गार सुनिश्चित करना नहीं है, बल्कि हम चाहतें हैं कि छात्र नौकरी करने की जगह नौकरी प्रदान करें।

हिंदी भाषा और व्यवहारिकता

देश में करीब 43.63 फीसदी जनता की पहली भाषा हिंदी है। हिंदी भाषा का दायरा वक्त के साथ बढ़ता भी रहा है। जनगणना के आंकड़ों से पता चलता है कि 1971 से 2011 के बीच हिंदी बोलने वालों की संख्या 6 फीसदी बढ़ी जबकि बाकी सभी भाषाओं को जानने वालों की संख्या में गिरावट आई। कुल हिंदीभाषियों में 90 फीसदी से ज़्यादा जनसंख्या भारत के 12 राज्यों में बसती है। इसमें उत्तर प्रदेश, दिल्ली, उत्तराखंड, मध्य प्रदेश, हिमाचल प्रदेश सबसे ऊपर हैं। मध्य भारत से लेकर दक्षिण भारत में हिंदीभाषियों की छिटपुट आबादी बिखरी हुई है। राजस्थान, छत्तीसगढ़, बिहार और झारखंड चार ऐसे राज्य हैं, जहां हिंदी जानने वालों की अच्छी-खासी आबादी है। हालांकि, पूर्वोत्तर भारत और तटीय क्षेत्रों से जुड़े ज्यादातर राज्यों में हिंदी का प्रभाव काफी कम है।

मतलब हमारे देश की करीब आधी आबादी हिंदी बोलती, समझती है। इसके बावजूद उच्च शिक्षा और प्रोफेशनल कोर्सेज़ में एक माध्यम के तौर पर हिंदी के लिए अभी बहुत कुछ किया जाना बाकी है। हिंदी भाषा के लिए अटल बिहारी वाजपेयी हिंदी विश्वविद्यालय की कोशिश की तारीफ की जानी चाहिए। लेकिन, व्यवहारिकता को समझते हुए इसे नए तरीके से आगे बढ़ाए जाने की ज़रूरत है।

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सुप्रीम कोर्ट ने दो दशक पुरानी शादी रद्द करने की दी अनुमति, कहा- रिश्ता भावनात्मक रूप से मर चुका है

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नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को दो दशक पुराने एक विवाह को यह कहते हुए समाप्त कर दिया कि दंपति के बीच यह रिश्ता भावनात्मक रूप से मर चुका है और दोनों पक्षों को अब साथ रहने के लिए राजी करने का कोई अर्थ नहीं है। न्यायालय ने संविधान के अनुच्छेद 142 के तहत अपनी शक्तियों का उपयोग करते हुए विवाह को समाप्त कर तलाक का आदेश पारित किया।

न्यायमूर्ति एल नागेश्वर राव और न्यायमूर्ति बी आर गवई की पीठ ने पति को आठ सप्ताह के अंदर पत्नी को 25 लाख रुपये का भुगतान करने का भी निर्देश दिया। पीठ ने कहा कि रिकॉर्ड में मौजूद दस्तावेज की जांच करने और न्याय मित्र (एमिकस क्यूरी) की दलीलों पर विचार करने के बाद, मामले के गुण-दोष पर टिप्पणी किए बिना, दोनों पक्षों के बीच विवाह भावनात्मक रूप से मृत है और उन्हें एक साथ रहने के लिए राजी किए जाने का कोई तुक नहीं है।’’

पीठ ने कहा, “इसलिए, यह भारत के संविधान के अनुच्छेद 142 के तहत प्रदत्त अधिकार के प्रयोग के लिए उपयुक्त मामला है। दोनों पक्षों के विवाह को समाप्त किया जाता है। रजिस्ट्री को तदनुसार एक आदेश तैयार करने का निर्देश दिया जाता है।” पीठ ने निर्देश दिया कि पत्नी द्वारा भरण-पोषण के लिए दायर याचिका 25 लाख रुपये की राशि प्राप्त होने के बाद वापस ले ली जाएगी।

पश्चिम बंगाल में एक पुलिस अधिकारी ने 1997 में शादी की और इसे विशेष विवाह कानून, 1954 के तहत पंजीकृत कराया। इसके बाद, 2000 में हिंदू रीति-रिवाजों और रीति-रिवाजों के तहत दोनों की शादी हुयी। पति ने पत्नी द्वारा क्रूरता और छोड़ दिए जाने का आरोप लगाते हुए पांच मार्च, 2007 को जिला न्यायाधीश, अलीपुर के समक्ष विवाह समाप्त किए जाने का मुकदमा दायर किया था।

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आज हॉट सीट पर नजर आएंगे डिंडोरी जिले के पुलिस जवान विजय मेश्राम

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देश के बहुचर्चित शो कौन बनेगा करोड़पति शो में शामिल होकर लौटे आरक्षक विजय मेश्राम का स्थानीय लोगों व पदस्थ पुलिस स्टाफ द्वारा जोरदार स्वागत किया गया। जानकारी अनुसार शो का प्रसारण आज बुधवार को रात्रि 9:00 बजे से सोनी टीवी पर किया जाएगा। बताया गया कि बालाघाट जिले के मूलतः निवासी श्री मेश्राम डिंडोरी पुलिस बल में वर्ष 2013 से पदस्थ हैं, जो वर्तमान में करंजिया क्षेत्र के गोपालपुर चौकी में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। मिली जानकारी अनुसार पिछले दिनों कौन बनेगा करोड़पति शो में शामिल होकर वापस डिंडोरी लोटे श्री मेश्राम का लोगों ने बैंड बाजा, रंग गुलाल व फूल मालाओं के साथ जोरदार स्वागत किया गया। श्री मेश्राम ने शो के दौरान आदिवासी बाहुल्य जिले डिंडोरी व मंडला के बारे में संक्षिप्त परिचय भी दिया है। कौन बनेगा करोड़पति शो में शामिल होकर लौटे पुलिस जवान ने डिंडोरी व बालाघाट जिले का नाम रोशन किया है। शो में शामिल होकर लौटे श्री मेश्राम का इष्ट मित्रों, पदस्थ पुलिस स्टाफ, शुभचिंतकों व परिजनों ने पुलिस जवान को बधाइयां एवं शुभकामनाएं देते हुए उज्जवल भविष्य की कामना की है।

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भाजपा मंडल शाहपुर में कामकाजी बैठक हुई संपन्न,कार्यक्रम की बनाई रूप-रेखा

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 भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा के निर्देशन में व संभागीय संगठन मंत्री शैलेन्द्र बरुआ के मार्गदर्शन में तथा भाजपा जिलाध्यक्ष नरेन्द्र राजपूत के नेतृत्व में कामकाजी बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में भाजपा मंडल शाहपुर में मंडल अध्यक्ष सुशील राय व कार्यक्रम प्रभारी जिला महामंत्री अवधराज बिलैया, जिला मीडिया प्रभारी सुधीर दत्त तिवारी, जिला मंत्री अनुराग गुप्ता व कीर्ति गुप्ता सहित अन्य पार्टी कार्यकर्ताओं की मौजूदगी में बैठक किया गया। आयोजित बैठक के सभी अतिथियों के द्वारा भारत माता जी के तैलीय चित्र में तिलक लगाकर, पुष्प-हार पहनाई गई। कार्यक्रम के प्रभारी अवधराज बिलैया ने आगामी कार्यक्रम सेवा और समर्पण अभियान के संबंध में कहा कि विश्व के सर्वाधिक लोकप्रिय नेता एवं प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के 17 सितंबर को जन्मदिन है। प्रदेशभर में जन्मदिन को सेवा और समर्पण अभियान के अंतर्गत कार्यक्रम किया जाना है, जिसके लिए प्रत्येक कार्यक्रमों के प्रभारी बनाये गए है। मंडल में होने वाले कार्यक्रमों के प्रभारियों की जानकारी देते हुए मंडल अध्यक्ष सुशील राय ने बताया कि हमे प्रधानमंत्री के जन्मदिवस के अवसर पर सभी कार्यक्रमों को पूरी निष्ठा के साथ करना है। आयोजित कार्यक्रमों की फोटोग्राफ्स सोशल मीडिया में अपलोड किया जाना है, साथ ही जो प्रधानमंत्री को स्मृति चिन्ह देश विदेश से मिले है, उनकी ऑनलाइन नीलामी भी की जायेगी, जिसमें रजिस्ट्रेशन भी कराना है। कार्यकर्ताओं से नमो एप डाउनलोड कराने की अपील करते हुए नमो टीका लक्ष्य हमारा हर बूथ पर एक सौ ग्यारह के साथ मंडल एवं बूथ स्तर तक कार्यक्रम आयोजित होंगे। आयोजित कार्यक्रम का आभार व्यक्त मंडल उपाध्यक्ष गणेश चौबे ने किया। बैठक में भाजपा वरिष्ठ शंकर लाल नामदेव, जिला कार्यसमिति सदस्य नारायण चौबे, राजेन्द्र तंतवाय, कमलेश साहू, हीरा नायक, मंडल महामंत्री रामानुज राव, नीरज रजक, हीरा नायक, पुहुप सिंह, राजेश ठाकुर, उषा मारवी, यदुनंदन नामदेव, छिददी बर्मन, दौलत बर्मन, कमलेश कनोजिया, गोविंद यादव, दशरथ मरावी, लोक सिंह परस्ते, बलवंत कुशराम, प्रेम लाल बनवासी, पदम् दास पनारिया, जिया लाल झारिया, मोती लाल यादव, संतोष कुमार अहिरवार, प्रसादी लाल यादव, ज्ञान सिंह मरावी सहित अन्य भाजपा कार्यकर्ता मौजूद रहे।

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सिहोरा नगर एवं ग्रामीण क्षेत्रों में बारिश के चलते डेंगू मलेरिया टाइफाइड सर्दी जुकाम का कहर

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जबलपुर जिले से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों में बारिश के चलते जहां डेंगू मलेरिया टाइफाइड सर्दी जुकाम जैसी कई अन्य बीमारियां नगर वासियों के लिए मुसीबत बनी हुई है ।वही नगर की स्वास्थ्य व्यवस्था सुविधा चंद कचरा गाड़ियों के भरोसे चल रही हैं। देखा जाए तो जिस प्रकार से मध्यप्रदेश शासन द्वारा नगर से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों में वैक्सीनेशन टीकाकरण का कार्य तो तेजी से करा रहा है। लेकिन नगर ग्रामीण अंचलों में अन्य समस्याओं पर कोई भी विशेष ध्यान नहीं दिया जा रहा हैं आज आलम यह है कि नर्मदा जल योजना के तहत खोदी गई नगर के समस्त वार्डों में नालियां रोडो की दुर्दशा के चलते जल भराव एवं नालिया चोक हो गई है।जिसके चलते मच्छर लावे अधिक मात्रा में पनप रहे हैं। इसके चलते ज्यादातर टाइफाइड मलेरिया डेंगू की बीमारियों से पीड़ित लोग अस्पतालों में इलाज कराने के लिए आ रहे हैं । जिला अधिकारी से लेकर अनुविभागीय अधिकारी को जिस तरह से नगर की जनता को सुविधा स्वास्थ्य व्यवस्था मुहैया करानी चाहिए उस प्रकार से कोई उचित ध्यान नहीं दिया जा रहा हैं बल्कि देखा जाए तो स्थानीय प्रशासन की यह जिम्मेदारी बनती है कि नगर में बढ़ती समस्या व्यवस्था पर नगर में किए जा रहे कार्य को सुचारू रूप व्यवस्थित करने के लिए सुबह शाम भ्रमण पर निकलना चाहिए ।जिससे कि नगर की व्यवस्था देखी जा सके। सिहोरा नगर के अंतर्गत कई वार्ड ऐसे हैं जहां पर लंबे समय से बारिश के पानी के भराव के कारण मच्छर अधिक पनप रहे साथ ही दुर्गंध आने से बीमारियां नगर में पैर पसार रही हैं।उसके बाद भी स्थानीय प्रशासन इस ओर कोई ध्यान नहीं देता कोराना काल के चलते केवल प्रशासन ने एक ही कार्य करने की ठानी है। जिसके चलते आम जनता के कोई भी उचित कार्य न होने से अधिकांश परेशान है। देखा जाए तो अधिकांश शासकीय कार्यालय में कई साल जमे अधिकारी कमर्चारी-अधिकांश कार्ययोजना में लंबे समय से जमे हुए इंजीनियर,बाबू, स्वास्थ्य प्रभारी ट्रांसफर ना होने के कारण नगर की व्यवस्थाएं उनके ही नियम अनुसार चल रही हैं और अपनी दुर्दशा पर आंसू बहा रही है। जनता चाहकर भी अपने कार्य के लिए कार्यालयों के रोजाना चक्कर लगाती है। स्वास्थ्य मिशन कार्य नगर पालिका सिहोरा क्षेत्र के कई ऐसे वार्ड हैं जहां पर रोजाना कचरा साफ सफाई ना होने को लेकर कचरा वहीं पड़ा रहता हैं और दुर्गंध से जनता परेशान होती हैं।इसकी जवाबदेही स्थानीय प्रशासन की होती है। लेकिन राजनीतिक दबाव व ऑफिस से बाहर न निकले पर जनता की असुविधा जस की तस बनी रहती है। जब भी नगर की स्वास्थ्य सुविधा की बात अनुविभागीय अधिकारी एवं मुख्य नगरपालिका अधिकारी से फोन से की जाती है तो उनके द्वारा आश्वासन दे दिया जाता है कि अभी दिखते हैं लेकिन रात गई बात गई अपना काम बनता भाड़ में जाए जनता की रूपरेखा इस तरह दिखाई देती है।

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गांगुली चाहते हैं सीरीज का पांचवां टेस्ट, बोले- समझौता नहीं किया जाएगा

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भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) अध्यक्ष सौरव गांगुली ने सोमवार को कहा कि भारत और इंग्लैंड के बीच प्रस्तावित एक टेस्ट मैच को सीरीज का पांचवां और निर्णायक मैच माना जाना चाहिए जिसे कि भारतीय खेमे में कोविड-19 के मामले पाये जाने के बाद रद्द कर दिया गया था। उन्होंने इस मैच को एकमात्र टेस्ट के रूप में मानने की संभावना से भी इन्कार किया।

इंग्लैंड एवं वेल्स क्रिकेट बोर्ड (ईसीबी) ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) को पत्र लिखकर रद्द कर दिये मैच के भाग्य पर विवाद समाधान समिति (डीआरसी) के फैसले की मांग की है। आईसीसी ने अभी तक इस मामले में कोई जवाब नहीं दिया है। यह मैच 10 सितंबर से मैनचेस्टर के ओल्ड ट्रैफर्ड में खेला जाना था।

गांगुली ने पीटीआई से विशेष बातचीत में कहा, “हम चाहते हैं कि सीरीज पूरी हो जाए क्योंकि यह हमारी (इंग्लैंड में) 2007 के बाद सीरीज में पहली जीत होगी। बीसीसीआई का मानना है कि टेस्ट क्रिकेट वास्तविक प्रारूप है और इससे किसी भी स्थिति में समझौता नहीं किया जाएगा।”

जब यह मैच रद्द किया गया तब भारत सीरीज में 2-1 से आगे चल रहा था। भारतीय टीम ने मुख्य कोच रवि शास्त्री सहित सहयोगी स्टाफ के सदस्यों के कोविड-19 के लिये पॉजिटिव पाये जाने के बाद खेलने से इन्कार कर दिया था। यदि इस मैच को ‘गंवा दिया’ की श्रेणी में रखा जाता है तो इससे ईसीबी को चार करोड़ पौंड की बीमा राशि मिल सकती है। उसने दावा किया है कि इससे उसे मैच रद्द किये जाने से होने वाले नुकसान की भरपायी करने में मदद मिलेगी।

गांगुली से यह पूछे जाने पर कि क्या बीसीसीआई ने अगले साल जुलाई में सीमित ओवरों की सीरीज के दौरान टेस्ट के बदले में दो अतिरिक्त टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच खेलने की पेशकश की है, उन्होंने कहा, “हम अतिरिक्त वनडे और टी20 अंतरराष्ट्रीय खेलने के लिये तैयार हैं और यह मुद्दा नहीं है। बस इतना है कि बाद में जो टेस्ट मैच खेला जाएगा वह सीरीज का पांचवां मैच होगा।”

आईसीसी को यदि लगता है कि मैच का आयोजन कोविड-19 के कारण नहीं हो पाया तो फिर भारत आधिकारिक तौर पर 2-1 से सीरीज जीत जाएगा। इस तरह से मैच रद्द किये जाने को विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के कोविड से जुड़े नियमों के अंतर्गत ‘स्वीकार्य’ माना जाता है।

गांगुली ने कहा, “पिछले 18 महीनों में कोविड-19 के कारण सीरीजएं रद्द करने को प्राथमिकता दी गयी। बीसीसीआई ने पिछले साल दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ अपनी घरेलू सीरीज रद्द कर दी थी जिससे हमें चार से पांच करोड़ रुपये का नुकसान हुआ था।”

उन्होंने इसके साथ ही उम्मीद जतायी कि भविष्य में ऐसे मामलों में ठोस ‘चिकित्सा सलाह’ होगी जिससे टीम के अंदर कोविड के मामले पाये जाने के बावजूद सीरीज जारी रखी जा सके। इस पूर्व कप्तान ने कहा, “क्योंकि हम जानते हैं कि दर्शकों और टेलीविजन के दर्शकों के मामले में यह कितना नुकसानदायक है विशेषकर जबकि इस तरह की रोमांचक सीरीज खेली जा रही हो। टेस्ट क्रिकेट बीसीसीआई की पहली प्राथमिकता है।”

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अपनी ऑटोबायोग्राफी को मिले बुरे रिव्यू पर बोलीं प्रियंका चोपड़ा – लोग गॉसिप पढ़ना चाहते हैं

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अभिनेत्री प्रियंका चोपड़ा जोनस ने कहा कि वह इस बात से बहुत खुश हैं कि उनकी पहली किताब ‘अनफिनिशड : ए मेमोएर’ में कुछ भी ‘अश्लील’ नहीं होने के बावजूद वह दुनिया भर में बेस्ट सेलर बन गई है। यह किताब साल की शुरुआत में पेंगुइंन रैंडम हाउस इंडिया ने प्रकाशित की थी। इस पुस्तक में भारत में प्रियंका के बचपन, अमेरिका में उनकी शुरुआती किशोरावस्था के दिन, जहां उन्होंने नस्लवाद का सामना किया, उनका भारत लौटना और फिर राष्ट्रीय और वैश्विक सौंदर्य प्रतियोगिता जीतना और अभिनय करियर के बारे में बात की गई है।

अभिनेत्री, स्तंभकार-लेखिका विनीता डावरा नांगिया के साथ ‘टाइम्स लिटफेस्ट 2021’ में ऑनलाइन बातचीत कर रही थी जहां उन्होंने बताया कि कैसे वह अपनी जिंदगी के बारे में किताब लिखना चाहती थी।

उनसे पूछा गया कि क्या वह किताब से किसी के नाम हटाना चाहती हैं तो प्रियंका ने कहा, “नहीं, क्योंकि यह किसी और की नहीं बल्कि मेरी कहानी है। यह असल में हास्यास्पद है। मुझे याद है कि मैं कुछ समीक्षाएं पढ़ रही थी जिनमें कहा गया था कि वह चीज़ों के बारे में सच नहीं बोल रही है। मेरे ख्याल में आप मेरी किताब में गप्पे चाहते थे न कि मेरी जिंदगी के बारे में जानना चाहते थे।”

उन्होंने कहा, “मुझे खुशी है कि मेरी किताब, अश्लील सामग्री नहीं होने के बावजूद बेस्ट सेलर में एक है।”

प्रियंका फिलहाल लंदन में हैं और उन्होंने कहा कि संस्मरण लिखने में उन्हें मुश्किल हुई, क्योंकि उन्होंने पहले कभी एक ‘ढांचे’ में इस तरह से कुछ नहीं लिखा था।

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‘टाइगर 3’ की शूटिंग के बीच सनराइज का लुत्फ उठा रहे हैं सलमान खान, शेयर की ये फोटो

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बॉलीवुड सुपरस्टार सलमान खान इन दिनों तुर्की में हैं। वो वहां पर कैटरीना कैफ के साथ अपकमिंग मूवी ‘टाइगर 3’ की शूटिंग कर रहे हैं। इस बीच उन्होंने सोशल मीडिया पर अपनी एक फोटो शेयर की है, जिसमें वो तुर्की में सूर्योदय का आनंद लेते दिखाई दे रहे हैं। 

सलमान खान ने इंस्टाग्राम पर अपनी फोटो शेयर की है। इसमें उनके बैकग्राउंड में खूबसूरत नजारा देखने को मिल रहा है। सलमान सनराइज का लुत्फ उठा रहे हैं। उनके इस पोस्ट को 1 घंटे में करीब 4 लाख लोगों ने लाइक किया है।

सलमान खान और कैटरीना कैफ ने हाल ही में तुर्की के संस्कृति और पर्यटन मंत्री मेहमत नूरी एर्साय से मुलाकात की थी।

इससे पहले कैटरीना ने भी तुर्की देश के लिए अपने प्यार का इजहार किया था, जहां वो और सलमान टाइगर 3 की शूटिंग कर रहे हैं। तस्वीर के साथ कैटरीना ने लिखा था, “(तुर्की फ्लैग इमोजी) यू हैव माई (दिल इमोजी)।”

तीसरी किस्त का निर्देशन मनीष शर्मा ने किया है। कोविड -19 के वैश्विक प्रकोप के कारण ‘टाइगर 3’ को रोक दिया गया था। कबीर खान द्वारा निर्देशित पहली किस्त ‘एक था टाइगर’ 2012 में रिलीज हुई थी। दूसरी ‘टाइगर जि़ंदा है’ 2017 में रिलीज हुई थी और इसका निर्देशन अली अब्बास जफर ने किया था।

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तालिबान के समर्थन में छात्राओं ने निकाली रैली, आतंकी संगठन के फरमान को ठहराया सही

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जहां अफगान महिलाओं ने तालिबान के खिलाफ अपने अधिकारों और देश भर में सरकार में भागीदारी के लिए कई विरोध प्रदर्शन किए हैं, वहीं इसके विपरीत कुछ महिलाओं ने काबुल में इस्लामिक अमीरात ऑफ अफगानिस्तान (आईईए) के समर्थन में एक प्रदर्शन का आयोजन किया। खामा न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, काबुल में सड़कों पर उतरने से पहले विश्वविद्यालय के व्याख्याताओं और छात्राओं ने शिक्षा विश्वविद्यालय में एक सभा की थी।
काबुल में अन्य प्रदर्शनों के विपरीत, यह दूसरा सर्व-महिला विरोध है जो अहिंसक था और पत्रकारों को स्वतंत्र रूप से कवर करने की अनुमति थी। प्रदर्शनकारियों ने हाल ही में महिला प्रदर्शनकारियों द्वारा की गई तथाकथित हिंसा की निंदा की और आईईए को अपना पूर्ण समर्थन व्यक्त किया।

महिलाओं ने सभी विश्वविद्यालयों और संस्थानों में लड़कों और लड़कियों के लिए अलग-अलग कक्षाओं की योजना का भी स्वागत किया और प्रतिज्ञा की कि वे आईईए को मजबूत करने के लिए काम करेंगी।

इससे पहले सैकड़ों महिलाएं कुंदुज प्रांत में जमा हुई थीं और तालिबान नेतृत्व के समर्थन के लिए विरोध प्रदर्शन किया था।

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जापान ने 6 देशों में आत्मघाती हमला होने के संबंध में अपने नागरिकों को चेतावनी जारी की

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जापान के विदेश मंत्रालय ने अपने नागरिकों से सोमवार को कहा कि वे छह दक्षिण एशियाई देशों में धार्मिक और भीड़भाड़ वाली जगहों से दूर रहें क्योंकि ऐसे स्थानों पर हमला हो सकता है। मंत्रालय ने कहा कि उसे सूचना मिली है कि ऐसे स्थानों पर आत्मघाती हमला किया जा सकता है। इंडोनेशिया, फिलीपीन, सिंगापुर, मलेशिया, थाईलैंड और म्यांमा जाने वाले जापानियों के लिए यह परामर्श जारी किया गया है।

हालांकि, इन देशों ने इस परामर्श पर आश्चर्य व्यक्त किया और कहा कि उन्हें ऐसे किसी खतरे या जापान को यह सूचना कहां से मिली, इसकी जानकारी नहीं है। थाईलैंड के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता तानी संग्रत ने कहा कि जापान ने इस चेतावनी के पीछे की जानकारी का स्रोत नहीं बताया है।

उन्होंने कहा कि जापानी दूतावास ने सिर्फ इतना कहा कि यह केवल थाईलैंड के लिए नहीं है, और इससे ज्यादा जानकारी नहीं दी। थाईलैंड की पुलिस ने भी ऐसे किसी खतरे की सूचना होने से इनकार किया है। इसी प्रकार, फिलीपीन के विदेश मंत्रालय ने भी इसकी जानकारी नहीं होने की बात कही।

जापान ने दक्षिणी द्वीप के पास संदिग्ध चीनी पनडुब्बी देखी

जापान ने एक दक्षिणी जापानी द्वीप के पास एक पनडुब्बी का पता लगाया है जिसके चीनी होने का संदेह है। रक्षा मंत्रालय ने रविवार को यह जानकारी दी। चीन द्वारा अपनी सैन्य गतिविधियां बढ़ाए जाने के साथ ही जापान ने पूर्वी चीन सागर में सतर्कता का स्तर बढ़ा दिया है। पनडुब्बी पानी के भीतर ही है लेकिन मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि पनडुब्बी चीन की मालूम होती है क्योंकि पनडुब्बी के पास चीनी लुयांग 3 मिसाइल विध्वंसक पोत है।

मंत्रालय ने बताया कि पनडुब्बी जापान द्वारा नियंत्रित विवादित पूर्वी चीन सागर द्वीपों से लगभग 700 किलोमीटर (420 मील) उत्तर पूर्व में अमामीओशिमा द्वीप के पूर्वी तट से उत्तर-पश्चिम की तरफ बढ़ रही है। इस सागर पर चीन भी दावा करता है। पनडुब्बी रविवार सुबह पूर्वी चीन सागर में पश्चिम की तरफ बढ़ रही थी। न तो पनडुब्बी ने और न ही पोत ने जापानी जल क्षेत्र में प्रवेश किया।

बता दें कि, अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत, दूसरे देश के तट से गुजरने वाली पनडुब्बियों को राष्ट्रीय ध्वज दिखाने की आवश्यकता होती है। जापान के समुद्री आत्मरक्षा बल ने प्रारंभिक चेतावनी देने और सूचना एकत्र करने के लिए क्षेत्र में तीन टोही विमान और दो विध्वंसक भेजे। जून 2020 में भी चीनी मानी जाने वाली एक पनडुब्बी को इस क्षेत्र में देखा गया था।

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