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एक भारत उत्कृष्ट भारत

हस्ताक्षर के पहले लगाई जायेगी मतदाता की बायीं तर्जनी पर अमिट स्याही, इंकार करने पर मतदान नहीं करने दिया जायेगा

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डिजिटल भारत l भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशों के मुताबिक विधानसभा चुनाव में मतदान केन्द्र पर वोट डालने पहुंचे
मतदाता की बायीं तर्जनी पर अमिट स्याही का निशान मतदाता रजिस्टर पर उसके हस्ताक्षर करने के पहले लगाया
जायेगा। ऐसा इसलिए किया जायेगा ताकि मत देने के बाद मतदाता के मतदान केन्द्र छोड़ने तक अमिट स्याही को
सूखने और एक सुस्पष्ट अमिट चिन्ह बनने के लिए पर्याप्त समय मिल जाये। मतदाता की अंगुली पर अमिट
स्याही नाखून से लेकर अंगुली के पहले पोर तक लगायी जायेगी।
निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार अमिट स्याही लगाने के पहले मतदान अधिकारियों द्वारा मतदाता की बायीं
तर्जनी का निरीक्षण भी किया जायेगा। यदि निरीक्षण में यह देखने में आता है कि किसी मतदाता ने अमिट स्याही
के चिन्ह को प्रभावहीन करने के लिए अपनी अंगुली पर तैलीय या चिकनाईयुक्त पदार्थ लगा लिया है तो मतदान
अधिकारी द्वारा उस मतदाता की अंगुली पर अमिट स्याही का चिन्ह लगाने के पहले किसी कपड़े के टुकड़े की
सहायता से ऐसा तैलीय या चिकनाईयुक्त पदार्थ को हटा दिया जायेगा ।
आयोग के निर्देशों में मतदान अधिकारियों से स्पष्ट कहा गया है कि यदि कोई मतदाता निर्देशों के
विपरीत अपनी बायीं तर्जनी का निरीक्षण करने या अमिट स्याही लगाने से इंकार करे या उसकी बायीं तर्जनी पर
ऐसा कोई चिन्ह पहले से ही हो अथवा वह स्याही को हटाने की दृष्टि से कोई भी कृत्य करे तो उसे मत देने के
लिए अनुमति नहीं दी जाये।
आयोग ने यह भी कहा है कि मतदाता को अपना मत रिकार्ड करने के लिए मतदान कक्ष में जाने की अनुमति
देने के पहले नियंत्रण यूनिट के प्रभारी मतदान अधिकारी द्वारा भी उसकी अंगुली की दुबारा जांच की जानी चाहिए।
यदि मतदाता ने स्याही को हटा दिया है या स्याही का चिन्ह अस्पष्ट है तो उसकी बायीं तर्जनी पर दुबारा अमिट
स्याही का चिन्ह लगा दिया जाये।
आयोग के मुताबिक मतदान कर चुके मतदाता की पहचान के लिए अमिट स्याही का चिन्ह मतदाता की
बायीं तर्जनी की अंगुली पर लगाया जायेगा। लेकिन यदि किसी मतदाता की बायीं तर्जनी न हो तो अमिट स्याही
उसकी ऐसी किसी भी अंगुली में लगाई जायेगी जो उसके बायें हाथ में हो । यदि उसके बाये हाथ में कोई भी अंगुली
न हो तो स्याही उसकी दायें हाथ की तर्जनी पर लगाई जायेगी और यदि उसके दायें हाथ की तर्जनी भी न हो तो
उसकी दायीं तर्जनी से प्रारंभ करते हुए उसके दायें हाथ की किसी भी अन्य अंगुली पर स्याही लगाई जायेगी ।
परन्तु यदि किसी मतदाता के किसी भी हाथ में कोई भी अंगुली न हो तो स्याही उसके बायें या दायें हाथ के ऐसे
सिरे (ठूंठ) पर जो भी उसके हो लगायी जायेगी।

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हर मतदाता दे सकेगा वोट,आयोग ने पहचान के लिए निर्धारित किये बारह वैकल्पिक दस्तावेज

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डिजिटल भारत l विधानसभा चुनाव के लिये शुक्रवार 17 नवंबर को होने वाले मतदान में ऐसे प्रत्येक मतदाता को मत
देने का अधिकार होगा जिसका नाम मतदाता सूची में शामिल है। ऐसे मतदाता जिन्हें फोटो परिचय पत्र जारी किये
गये हैं उन्हें वोट डालने के लिए फोटो परिचय पत्र मतदान केन्द्र ले जाना जरूरी होगा।
लेकिन किन्ही कारणों से फोटो मतदाता पहचान पत्र प्रस्तुत नहीं कर पाने वाले मतदाताओं के लिये
निर्वाचन आयोग द्वारा निर्धारित 12 वैकल्पिक फोटोयुक्त पहचान के दस्तावेजों में से कोई एक वैकल्पिक
दस्‍तावेज प्रस्तुत करना होगा। निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार इस बार बीएलओ द्वारा मतदाताओं की सुविधा के
लिये घर-घर वितरित की गई मतदाता सूचना पर्ची को मतदाता की फोटो नहीं होने के कारण पहचान स्थापित करने
के लिये निर्धारित दस्तावेजों में मान्य नहीं किया जायेगा।
आयोग के मुताबिक कोई ऐसे मतदाता जो बीएलओ द्वारा मतदाता सूचना पर्ची के वितरण के दौरान घर
पर मौजूद नहीं थे वो भी अपना वोट डाल सकेंगे। लेकिन ऐसे मतदाता का नाम पीठासीन अधिकारी के पास मौजूद
एएसडी (एबसेंट, शिफ्टेड या डुप्लीकेट) वोटर्स की सूची में शामिल होना चाहिए।
आयोग के निर्देशों के अनुसार मतदान के दिन यदि ऐसा मतदाता मतदान केन्द्र पहुंचता है जिसे
मतदाता सूचना पर्ची प्राप्त नहीं हुई और उसका नाम एएसडी वोटर्स की सूची में शामिल है तो उसे अपना फोटो
मतदाता परिचय पत्र या आयोग द्वारा पहचान साबित करने के लिए निर्धारित किये गये वैकल्पिक दस्तावेज
पीठासीन अधिकारी को बताना होगा । पीठासीन अधिकारी फोटो मतदाता परिचय पत्र अथवा वैकल्पिक दस्तावेज के
आधार पर ऐसे मतदाता की पहचान संबंधी जांच करेगा तथा जांच के बाद ही उसे वोट डालने की अनुमति देगा ।
ऐसे मतदाता को मतदाता रजिस्टर में न केवल हस्ताक्षर करने बल्कि उसके अंगूठे का निशान भी मतदान रजिस्टर
में लिया जायेगा ।
आयोग ने मतदाताओं की पहचान स्थापित करने के लिए बारह वैकल्पिक फोटो पहचान दस्तावेजों को
भी मान्य किया है। लेकिन मतदान केंद्र पर वैकल्पिक फोटो पहचान दस्तावेज प्रस्तुत करने की ये अनुमति केवल
उन्हीं मतदाताओं के लिए होगी जो मतदाता फोटो परिचय पत्र नहीं ला सके हैं। मतदाता को इसमें से कोई एक
फोटो पहचान दस्तावेज को मतदान के पहले अपनी पहचान स्थापित करने के लिए मतदान अधिकारियों के समक्ष
प्रस्तुत करना होगा। फोटो मतदाता परिचय पत्र के फोटोग्राफ से मिलान करने पर यदि किसी मतदाता की पहचान
करना संभव नहीं है तो उस स्थिति में भी उस मतदाता को पहचान स्थापित करने के लिये मान्य बारह दस्तावेजों
में से कोई एक दस्तावेज दिखाना होगा।
निर्वाचन आयोग ने जिन फोटो पहचान दस्तावेजों को मतदाताओं की पहचान स्थापित करने के लिए मान्य
किया है, उनमें आधार कार्ड, मनरेगा जॉब कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पैन कार्ड, भारतीय पासपोर्ट, फोटो सहित पेंशन
दस्तावेज, केंद्र अथवा राज्य सरकार या सार्वजनिक उपक्रम अथवा सार्वजनिक लिमिटेड कंपनियों द्वारा कर्मियों को
जारी फोटो सहित सेवा पहचान पत्र, बैंक अथवा डाकघर द्वारा जारी फोटो सहित पासबुक, राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर के अधीन आरजीआई द्वारा जारी स्मार्ट कार्ड, श्रम मंत्रालय की योजनाओं के अधीन जारी स्वास्थ्य बीमा स्मार्ट
कार्ड, सांसद या विधानसभा एवं विधान परिषद के सदस्यों को जारी किये गये आधिकारिक पहचान पत्र तथा भारत
सरकार के सामाजिक न्याय मंत्रालय द्वारा दिव्यांगजनों को जारी यूनिक डिसेबिलिटी आईडी शामिल शामिल हैं।
आयोग ने कहा है कि प्रवासी निर्वाचक जो लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1950 की धारा 20 क के अधीन
पासपोर्ट में दर्ज विवरणों के आधार पर मतदाता सूची में पंजीकृत हुए हैं मतदान केंद्र में उन्हें मूल पासपोर्ट के
आधार पर पहचाना जायेगा किसी अन्य पहचान के दस्तावेज से नहीं।

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कांग्रेस प्रत्यासी राजेश पटेल को क्षेत्र में मिल रहा अपार जन समर्थन एक जुट हुई कांग्रेस, बदला नजर आने लगा माहौल

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डिजिटल भारत l इस वर्ष होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा से 10 साल से विधायक रहे सुशील इंदु तिवारी पुनः भाजपा से प्रत्यासी है तो वहीं कांग्रेस ने ओबीसी कार्ड खेलकर पनागर विधानसभा में राजेश पटेल को प्रत्यासी बनाया गया है जिन्हें जनसंपर्क के दौरान पनागर ही नही बरेला क्षेत्र में भी जनता का भरपूर प्यार और जन समर्थन मिल रहा है, पनागर प्रत्यासी राजेश पटेल पूर्व में जिला पंचायत अध्यक्ष रह चुके हैं अपने अध्यक्ष के कार्यकाल में राजेश पटेल ग्रामीण क्षेत्रों में लगातार दौरा कर अपनी पहचान बना चुके थे अब वो कांग्रेस से विधानसभा प्रत्यासी के रूप में फिर से जनता के बीच में हैं अब जनता भी उन्हें जिला पंचायत अध्यक्ष के बाद पनागर में विधायक बनना देखना चाह रही है जिसके चलते इस चुनाव में उन्हें जनता के बीच वही स्नेह और सम्मान मिल रहा है।
हाल में हुए जिला पंचायत चुनाव में राजेश पटेल ने अपने छोटे भाई विवेक पटेल को जिला पंचायत चुनाव में भारी मतों से विजयी बनाया था जो आज जिला पंचायत में उपाध्यक्ष पद पर है, विवेक पटेल भी जिला पंचायत उपाध्यक्ष रहते ग्रामीण अंचलों में लगातार दौरा किया जिसका पूरा लाभ भी इस चुनाव में राजेश पटेल को मिलता नजर आ रहा है।
तो वहीं पूर्व में निर्दलीय प्रत्यासी रहे भारत सिंह यादव की पत्नी श्रीमती प्रभा यादव भी राजेश पटेल के पक्ष में खुलकर मैदान में प्रचार प्रसार कर रहे हैं तो वहीं सेवादल के राष्ट्रीय महासचिव सत्येंद्र यादव भी समस्त 310 बूथों में अपनी टीम के साथ राजेश पटेल के समर्थन में जीत दिलाने पुरजोर मेहनत कर रहे हैं, वहीं प्रदेश महामंत्री विनोद श्रीवास्तव ने भी अपनी टीम कांग्रेस को विजयी बनाने लगा रखी है, ब्लॉक कांग्रेस पनागर और बरेला, युवक कांग्रेस, महिला कांग्रेस, एनएसयूआई के साथ ओबीसी एससी एसटी संयुक्त मोर्चा मध्यप्रदेश जन जागरण मोर्चा (कमलनाथ ग्रुप) के साथ कुर्मी क्षत्रिय महासभा के खुले समर्थन ने इस चुनाव को और भी रोमांचक बना दिया है, कुल मिलाकर देखा जाए तो इस बार हो रहे विधानसभा चुनाव में कांग्रेस एक डोर में एक जुट होकर चुनाव लड़ रही है जिससे यह चुनाव काफी रोमांचक स्थिति में पंहुच चुका है। अब जनता को ही तय करना है कि आगामी 17 नवंबर तक इस तरह से जनता का मिल रहा जनसमर्थन वोट में तब्दील हो रहा है या जनता के मन में 10 साल से विधायक रहे सुशील इंदु तिवारी को तीसरी बार चुनकर पुनः विधायक बनाना चाह रही है यह तो 3 दिसंबर को आने वाला परिणाम में ही दिखाई देगा

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दो दिन में 5 हजार 300 से अधिक चुनाव कर्मियों ने किया डाक मत पत्र से मतदान

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डिजिटल भारत l विधानसभा चुनाव कराने संलग्न अधिकारियों कर्मचारियों को डाकमत पत्र से मतदान की दी गई सुविधा का
लाभ उठाते हुये दो दिनों में 5 हजार 300 चुनाव कर्मियों द्वारा मतदान किया जा चुका है। चुनाव कर्मियों को
जिनमें मतदान दल में शामिल अधिकारी-कर्मचारी, माइक्रो आब्जर्बर्स विशेष पुलिस अधिकारी बनाये गये कर्मचारी
तथा चुनाव कार्य से संलग्न वाहनों के ड्राइवर, कंडक्टर एवं क्लीनिक भी शामिल है, डाक मत पत्र से मतदान की
सुविधा माढ़ोताल स्थित श्रीराम इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलाजी में चल रहे मतदान कर्मियों के दूसरे चरण के प्रशिक्षण
के दौरान उपलब्ध कराई जा रही है। इसके लिये यहां प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र पर तीन-तीन फेसिलिटेशन सेण्टर
बनाये गये है।
जिला निर्वाचन कार्यालय के मुताबिक इन फेसिलिटेशन सेण्टर्स पर पहले दिन मंगलवार 7 नवंबर को 2
हजार 848 चुनाव कर्मियों ने तथा दूसरे दिन आज बुधवार 8 नवंबर को करीब 2 हजार 500 चुनाव कर्मियों द्वारा
डाकमत पत्र से अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया गया है। चुनाव कर्मियों को डाकमत पत्र से मतदान की
सुविधा गुरूवार 9 नवंबर को भी उपलब्ध रहेगी। ड्रायवर-कंडक्टर-क्लीनर 11 नवंबर तक कर सकेंगे डाकमत पत्र से मतदान
जिला निर्वाचन कार्यालय के मुताबिक चुनाव कर्मियों की तरह चुनाव कार्य में संलग्न किये गये वाहनों के
ड्राईवर, कंडक्टर एवं क्लीनर को भी डाकमत पत्र से मतदान की सुविधा उपलब्ध होगी।

ड्राइवर, कंडक्टर एवं क्लीनर 11 नवंबर तक श्रीराम इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलाजी के भवन क्रमांक दो में बने फेसिलिटेशन सेण्टर में मतदान कर सकेंगे। डाकमत पत्र से मतदान के लिये इन्हें अपना वोटर आईडी कार्ड, आधार कार्ड और ड्यूटी आदेश लेकर
फेसिलिटेशन सेण्टर पर पहुंचना होगा। अन्य जिलों में रहने वाले शासकीय सेवक भी कर सकेंगे डाकमत पत्र से मतदान जिला निर्वाचन कार्यालय के अनुसार डाकमत पत्र से मतदान की सुविधा जिले में पदस्थ ऐसे मतदान कर्मियों को भी होगी जिनके नाम दूसरे जिले की मतदाता सूची में हैं लेकिन वे शासकीय सेवा जबलपुर जिले में कर रहे हैं। ऐसे शासकीय सेवकों को डाकमत पत्र से मतदान की सुविधा उपलब्ध कराने मतदान कर्मियों के प्रशिक्षण के दौरान श्री राम इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलाजी में अलग से फेसिलिटेशन सेण्टर स्थापित किया गया है।
रिटर्निंग अधिकारी कार्यालय में 11 नवंबर से डाले जा सकेंगे डाकमत पत्र से वोट जिला निर्वाचन कार्यालय के अनुसार श्री राम इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलाजी में मतदान दलों का दूसरे चरण का प्रशिक्षण समाप्त होने के बाद चुनाव कर्मियों को डाकमत पत्र से मतदान की सुविधा देने जिले की आठों विधानसभा क्षेत्र के रिटर्निंग अधिकारी कार्यालय में फेसिलिटेशन सेण्टर स्थापित किये जायेंगे। रिटर्निंग अधिकारी कार्यालय में बनाये जाने वाले इन फेसिलिटेशन सेण्टर्स पर चुनाव कर्मी 11 नवंबर से मतदान कर सकेंगे।

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पीएम मोदी का मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ दौरा आज

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डिजिटल भारत l प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ का दौरा करेंगे, जहां दोनों राज्यों को करोड़ों रुपये के विकास कार्यों की सौगात देंगे. पीएम मोदी ने एक्स (ट्विटर) पर ट्वीट कर अपने दौरे की जानकारी दी.प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज मध्य प्रदेश के बीना पहुंचेंगे और 50,700 करोड़ रुपये से ज्यादा की परियोजनाओं का शिलान्यास करेंगे. इन परियोजनाओं में बीना रिफाइनरी में एक पेट्रोकेमिकल कॉम्प्लेक्स और राज्य भर में 10 नई औद्योगिक परियोजनाएं शामिल हैं.

दोनों राज्यों में साल के आखिर में विधानसभा चुनाव

बता दें कि दोनों राज्यों में साल के आखिर में विधानसभा चुनाव होने हैं। भारत पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड की अत्याधुनिक बीना रिफाइनरी को लगभग 49,000 करोड़ रुपये की लागत से विकसित किया जाएगा। यह
रिफाइनरी लगभग 1,200 केटीपीए (किलो-टन प्रति वर्ष) एथिलीन और प्रोपलीन का उत्पादन करेगी। यह कपड़ा, पैकेजिंग और फार्मा जैसे विभिन्न क्षेत्रों के लिए महत्वपूर्ण है।

छत्तीसगढ़ में रेल परियोजनाओं का करेंगे लोकार्पण

मध्य प्रदेश के बाद प्रधानमंत्री मोदी चुनावी राज्य छत्तीसगढ़ के रायगढ़ जिले में एक सार्वजनिक रैली को संबोधित करेंगे और कांग्रेस शासित राज्य के अपने दौरे में रेल क्षेत्र की करीब 6,350 करोड़ रुपये की परियोजनाओं को भी राज्य के लोगों को समर्पित करेंगे l मोदी केंद्र की स्वास्थ्य सेवा पहल के तहत छत्तीसगढ़ के नौ जिलों में बनाए जाने वाले 50 बिस्तरों वाले प्रत्येक ‘क्रिटिकल केयर ब्लॉक’ की आधारशिला भी रखेंगे. कांग्रेस शासित छत्तीसगढ़ राज्य में पिछले ढाई महीने के दौरान प्रधानमंत्री मोदी की यह दूसरी यात्रा होगी. राज्य में इस वर्ष के अंत में विधानसभा के चुनाव होने हैं.

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