विशेषज्ञों के अनुसार अदरक, दालचीनी, अलसी, अर्जुन प्राकृतिक ब्लड थिनर हैं।
इनके नियमित सेवन से ब्लड पतला रहेगा और हाईपर टेंशन, ब्लॉकेज, हार्ट अटैक से बचा जा सकता है।
डिजिटल भारत l अस्पतालों में आ रहे मरीजों को चिकित्सक अदरक, लहसुन से लेकर मसाले के रूप में उपयोग होने वाली हल्दी के नियमित उपयोग की सलाह दे रहे हैं। उनका कहना है कि अदरक, दालचीनी, अलसी, अर्जुन प्राकृतिक ब्लड थिनर हैं। इनके नियमित सेवन से ब्लड पतला रहेगा और हाईपर टेंशन, ब्लॉकेज, हार्ट अटैक से बचा जा सकता है।
इसके साथ ही रोग प्रतिरोधक क्षमता बढऩे से मौसमी बीमारियां नहीं होंगी। वे शरीर में गर्मी बनाए रखने के लिए नियमित रूप से दो-तीन कली लहसुन के उपयोग की सलाह दे रहे हैं। डॉक्टरों का कहना है कि बीमारी से पीडि़त लोग एक बार चिकित्सक से जांच कराकर दवा की मात्रा का पुनर्निधारण करा लें।
अदरक, दालचीनी, अर्जुन प्राकृतिक रूप से ब्लड को पतला करते हैं। अलसी के सेवन से कोलेस्ट्रॉल का स्तर कम होता है। ठंड के सीजन में चाय से लेकर सब्जी, लड्डू, हलवा में इन सामग्रियों का उपयोग करना फायदेमंद है। हृदय रोग से बचाव में ये सामग्री बहुत कारगर हैं।
डॉ जीएल टिटोनी, आयुर्वेद विशेषज्ञ
अदरक, लहसुन, दालचीनी, हल्दी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के साथ सर्दी-जुकाम व खांसी से बचाव में कारगर हैं। हल्दी एंटी बायोटिक का भी काम करती है। दैनिक रूप से इन सामग्रियों का चाय, दूध के साथ या भोजन में किसी न किसी रूप में अवश्यक उपयोग करें।
डॉ अमित मुखर्जी, आयुर्वेद चिकित्सक
कड़ाके की ठंड में सर्दी, जुकाम, खांसी और वायरल बुखार से लोग पीडि़त हो रहे हैं। ऐसे में आयुर्वेद के विशेषज्ञों का कहना है कि घर की रसोई में रखी सामग्री का उपयोग कर बीमारियों से बचा जा सकता है।