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एक भारत उत्कृष्ट भारत

ऐसे बनाये ऑफिस के मोहोल को खुशनुमा एंड रिलेक्सिंग , बढ़ाये अपनी प्रॉडक्टिवटी

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डिजिटल भारत l ऑफिस एक ऐसी जगह है, जहां पर हर व्यक्ति अपना बेस्ट देना चाहता है। ऑफिस में आपकी परफार्मेंस कहीं ना कहीं आपकी करियर ग्रोथ पर असर डालती है। शायद यही कारण है कि महत्वाकांक्षी लोग अपने काम को लेकर काफी सीरियस होते हैं और वह उसे बेहतर तरीके से करना चाहते हैं।कई बार ऑफिस की टेंशन लोगो की निज़ी ज़िंदगी में भी दुःख का कारण बन जाती है. आज हम बात करेगें कि कैसे ऑफ़िस में एक खुशियों भरा माहौल बनाया जा सकता है और अपने कामो को अच्छे से किया जा सकता है

टीम वर्क को महत्त्व दें : ऑफिस में टीम वर्क को महत्त्व दें. ऐसे में एक दूसरे के साथ अच्छी बॉन्डिंग होगी और ऑफिस में खुशनुमा माहौल बना रहेगा.

विचार भेद को दे महत्त्व: कई बार ऑफिस में बॉस और एम्प्लॉय के बीच किसी काम को लेकर विचारों में मतभेद हो जाता है. सामने वाले के विचारों को ध्यान से सुनें और उनमें सही प्रतिक्रिया दें ताकि ऑफिस में असंतोष न फैले.
क्षमता से अधिक काम न ले: कई बार हम अपने ऑफिस में अपने सीनियर को खुश करने के चक्क्र में उन कार्यों के बारे में भी हां कर देते है जिनके बारे में हम नही जानते। ऐसा कभी न करें इससे आप ही का नुकसान है । जो कार्य आन नही कर सकते या आपकी क्षमता के विपरीत है उसके लिए ना करना सीखें। वही काम करे जो आप कर सकते है।

मल्टीटास्किंग से बचें : यह एक ऐसी मिसटेक है, जिसे अधिकतर लोग करते है और उसी के कारण वह तनाव में रहते हैं। भले ही आपके पास काम अधिक है, तो भी आप मल्टीटास्किंग से बचें (घर पर न लाएं ऑफिस का काम)। जब आप मल्टीटास्किंग करती हैं तो इससे आपके काम की स्पीड कम हो जाती है और इस तरह आप किसी भी काम को तय समय पर पूरा नहीं कर पाती हैं।

हेल्पिंग नेचर बनाएं रखें : कुछ लोग अपनी तारीफ़ करवाने के चक्कर में दूसरों को नीचे गिराने लग जातें हैं. इससे ऑफिस का माहौल खराब होता है. ऑफिस में बॉस से लेकर सारे स्टॉफ तक हेल्पिंग नेचर बनाए रखना चाहिए. इस तरह ऑफिस में भी अपनेपन का भाव बना रहेगा.
फन टाइम भी रखें : ऑफिस में ज्यादा काम का प्रेशर और फिर टाइम पर फाइल देने की जल्दबाजी में कुछ लोग काम को ही अपना जीवन समर्पित कर देते हैं. ऑफिस में कम से कम सप्ताह में एक दिन मनोरंजन का माहौल बनाया जाना चाहिए. सप्ताह के अंतिम दिन में ऑफिस में किसी तरह की एक फन एक्टिविटी को ज़रूर शामिल करें.

ऐसे करे समय की बचत : ऑफिस कार्य के दौरान कुछ शॉर्टकट तरीके होते है जो हमारे समय की बचत करते है। जैसे यदि आपसे कोई कॉल कर रहा है तो उसे मैसेज के साथ रिप्लाई देकर अपने समय की बचत करें। साथ ही आपके काम से जुड़े कई ऐसे शॉर्टकट है जो आपके समय की बचत करते है। आप कम्प्यूटर पर कार्य कर रहे है तो उसकी शॉर्टकट की बारीकियों को जाने यह समय बचत में सबसे बड़े उपयोगी है।
अपने टास्क को पूरा करे : आपने जो भी कार्य हाथ में लिया है उसे तय समय पर पूरा करें । यदि आप उस काम के प्रति लापरवाही कर अगले दिन पर टाल देते है तो इस आदत से आपके ऊपर वर्क लोड काफी बढ़ जाता है इसलिए काम के दौरान आलस को बिलकुल न अपनाएं । 2 मिनट ज्यादा सही पर उस काम को पूरा करे जो आपने करने के लिए हाथ में लिया है।

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नया बिजनेस शुरू करने जा रहे तो रखे इन चीजों का ख्याल :बिजनेस टिप्स

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डिजिटल भारत l जो एक बिजनेसमैन को ध्यान में रखने चाहिए.
कुछ ऐसी चीजें जो उसे करनी चाहिए और कुछ ऐसी चीजें जो उसे भूलकर भी नहीं करनी चाहिए.
बिजनेस में यदि व्यक्ति सफल हो जाए… तो उसकी जिंदगी हीं बदल जाती है. लेकिन अगर कोई व्यक्ति बिजनेस में असफल हो जाता है, तो मानो उसकी दुनिया हीं खत्म हो जाती है….. फिर उसके लिए सम्भल पाना काफी मुश्किल होता है.
उपयोगी बिजनेस टिप्स :
बिजनेस में कदम रखने से पहले यह सुनिश्चित कीजिए कि आप किसी और की देखादेखी बिजनेस
शुरू नहीं कर रहे हैं.
एक इमरजेंसी फण्ड रखिए, ताकि जब आपका बिजनेस घाटे या कम मुनाफे में चले….
तो आपके हाथ में कुछ पैसे बचे रहें. और इस इमरजेंसी फण्ड में हर दिन या हर महीने कुछ
पैसे जमा करते जाइए.
नए बिजनेस में यह जरूरी होता है, कि आप बेवजह के खर्चों से बचें.
बिजनेस शुरू करने के तुरंत बाद इससे मुनाफे की उम्मीद नहीं करनी चाहिए. किसी छोटे-मोटे बिजनेस
को भी जमने में कम-से-कम 2-4 साल का समय लगता है.
बिजनेस के शुरूआती दिनों में बहुत ज्यादा मेहनत करनी पड़ती है, हो सकता है आपको शुरू में हर दिन
10-15 घंटे हर दिन काम करना पड़े.
दोस्तों बहुत से लोगो के मन में हमेशा यह विचार आता है कि उसने अपना बिज़नेस खड़ा तो कर लिया है लेकिन उनका बिज़नेस ज्यादा ग्रो नहीं कर रहा है वह उन तरीको को खोजता है जिनसे वो अपने Business को Grow कर सके ! आज इस लेख में हम आपको ऐसे तरीके बताएँगे जिनकी सहायता से आप अपने बिज़नेस को बहुत तेजी से ग्रो कर सकते हो ! तो आइये जानते है वे कोनसे तरीके है जिनकी सहायता से हम अपने बिज़नेस को बढ़ा सकते है
बोद्धिक सम्पति को सुरक्षित रखे
दोस्तों जब भी हम अपना कोई बिज़नेस शुरू करते है तो इसमें सबसे पहले हमें कुछ कागजी कार्यवाही पूरी करनी होती है ! जैसे अपने बिज़नेस का नाम क्या होगा , उसका लोगो कैसा होगा और उसको रजिस्टर करने की कार्यवाही आदि करनी होती है !

अपने महत्वपूर्ण कर्मचारियों का ध्यान रखे
एक बिज़नेस को ग्रो करने के लिए यह बेहद जरुरी है कि आप अपने Best Employees का ध्यान रखे ! उन्हें एहसास कराये कि वे आपकी कंपनी में एक कर्मचारी नहीं है बल्कि उनके पार्टनर है ! एक सफल बिज़नेसमेन भी वही होता है जो अपने Employees का हमेशा ध्यान रखता है और उनकी समस्याओ का समाधान करता है !

यदि आप अपने विश्वसनीय और प्रमुख कर्मचारियों का ध्यान नहीं रखेंगे तो और कोई कंपनी उन्हें अच्छा ऑफर देकर हायर कर लेगी जिससे आपको नुकसान उठाना पड़ सकता है और आपके बिज़नेस की ग्रोथ रुक भी जाएगी !

अपने ग्राहकों का ध्यान रखे
दोस्तों एक सफल बिज़नेस के लिए सबसे महत्वपूर्ण है कि वह अपने ग्राहकों को संतुष्ट रखे ! उनकी हर समस्या का समाधान करे ! एक संतुष्ट कस्टमर आपके प्रोडक्ट का अन्य लोगो से प्रचार करेगा और आपके बिज़नेस के साथ एक और ग्राहक भी जोड़ेगा !

आपको हमेशा इस बात पर फोकस करना चाहिए कि आपके कस्टमर्स को अच्छे प्रोडक्ट और अच्छी सर्विस प्रदान हो ! यदि आप क्वालिटी और सर्विस दोनों मेंटेन करके चलते है तो आपका बिज़नेस जल्दी ही ग्रो करेगा !

अपने ऊपर निवेश करना
एक बिसनेसमेन को समय पर खुद पर भी निवेश करना चाहिए ! खुद पर निवेश करने से मतलब है कि समय – समय पर आपको मोटिवेशनल सेमिनारो में भाग लेना , बुक्स पढना तथा बिज़नेस की बारीकियां सीखना आदि चीजो में आपको पैसे और समय दोनों निवेश करने चाहिए ! यदि आप ऐसा करते है तो यह निवेश आपको आने वाले समय में कई गुना रिटर्न देगा !

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जाने कैंडल मकेंग बिज़नेस के बारे में हर जानकारी, काम लगत में करे स्टार्ट

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डिजिटल भारत I मोमबत्ती बनाने का business एक ऐसा business है. जिसको आप करके काफी अच्छा पैसा कामा सकते है और इसके लिए आपको ज्यादा investment करने कि भी जरुरत नहीं है.

आज के समय में मोमबत्ती का उपयोग रौशनी करने कि जगह सजावट में किया जाने लगा है आज के समय में लोग मोमबत्ती का उपयोग त्योहारों पर घर को सजाने के लिए करते है और लोग मोमबत्ती का उपयोग birthday cake में करते है.
आजकल अरोमाथेरेपी के लिए सुगंधित मोमबत्तियों (Fragrance Candles) का खासतौर से उपयोग होता है. इस तरह मोमबत्‍ती की मांग आज कई कामों और क्षेत्रों में है. इसी कारण यह मोमबत्‍ती निर्माण का बिजनेस (Candle Making Business) भी एक पैसा कमाने का एक बढ़िया माध्‍यम बन गया है. मोमबत्‍ती बनाने के व्‍यवसाय की सबसे अच्‍छी बात यह है कि यह ऐसा काम है जो बहुत कम पैसा लगाकर शुरू किया जा सकता है. यह एक ऐसा बिजनेस है, जिसमें आप अपने बजट के अनुसार कम या ज्यादा लागत लगाकर आसानी से घर से शुरू कर सकते हैं और मोटी कमाई कर सकते हैं.

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मोमबत्ती बनाने का बिजनेस शुरू करने के लिए आपको मोमबत्ती बनाने की मशीन और मोमबत्ती बनाने में इस्तेमाल होने वाली सामग्री खरीदनी होगी. इस काम को शुरू करने के लिए आपको 50,000 रुपए से लेकर 1 लाख रुपए तक पैसे खर्च करने होंगे. मोमबत्‍ती बनाने में धागे, रंग और ईथर के तेल के उपयोग किया जाता है. यह सामग्री आपको बाजार में आसानी से मिल जाती है या फिर आप इन्‍हें ऑनलाइन भी खरीद सकते हो.
मोमबत्‍ती बनाने का प्रशिक्षण (Candle Making Training) देशभर में सरकारी और निजी संस्‍थान देते हैं. आप भी अपने नजदीकी प्रशिक्षण संस्‍थान से अगर प्रशिक्षण लेकर यह काम करेंगे तो ज्‍यादा अच्‍छा होगा. मल्टी डिसिप्लिनरी ट्रेनिंग सेंटर, देहरादून, वुलन होजरी ट्रेनिंग सेंटर, लखनऊ, मल्टी डिसिप्लिनरी ट्रेनिंग सेंटर, राजघाट, नई दिल्ली, डॉ राजेन्द्र प्रसाद मल्टी डिसिप्लिनरी ट्रेनिंग सेंटर, पटना, खादी ग्रामोद्योग विद्यालय, बाराबंकी और खादी ग्रामोद्योग विद्यालय वीरापंडी मोमबत्‍ती निर्माण में प्रशिक्षण देने वाले कुछ प्रमुख संस्‍थान हैं.
आसानी से मिलती है सामग्री

मोमबत्ति बिजनेस का साथ अन्य व्यवसाय
आजकल के फैशन के दौर में मोमबत्तियां भी नए नए प्रकार की बनाई जाती है | जैसे डेकोरेशन वाली मोमबत्तिया, कैंडल स्टैंड (candle stand) मोमबत्तिया, जन्मदिन के लिए मोमबत्तिया (birthday candle), होटल में सजाने वाली मोमबत्तिया (candle light dinner), tealight candle आदि | इसीलिए आप इससे जुड़े अन्य व्यवसाय भी कर सकते हैं | जैसे केंडल स्टैंड (candle with stand), केंडल होल्डर (candle holder) आदि का काम भी कर सकते हैं |

मोमबत्ती बनाने का तरीका
सबसे पहले तो आपको धागा लेना है जिसको मोमबत्ती बनाने वाले सांचों में डाल देना है.
अब आपको कच्चे मोम को गरम करके पिघलाना है ताकि वो तरल बन जाये.
ध्यान रखे कि उतना ही मोम गरम करे जितना जरुरी हो.
मोम के गरम हो जाने के बाद आपको पिघले हुए मोम को सब्धानी से मोमबत्ती बनाने वाले सांचों में डालना है.
जब आप सभी सांचों में मोम को डाले तो ध्यान रखे कि सभी सांचों में मोम सही से भर जाये .
अब आप कुछ समय इतजार करे ताकि मोम सुख सके.
इस प्रिक्रिया में 10 से 20 minutes लग सकते है.
अब आपकी मोमबत्ती बन गई होंगी जिनके धागे को आप काट कर उन्हें अलग कर सकते है.
अगर आप रंगीन मोमबत्ती बनाना चाहते है तो उसके लिए आपको मोम में रंग मिलाना होगा
जिससे मोम रंगीन हो जाएगा और आप उससे रंगीन मोम बत्ती बना सकेंगे.

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यूक्रेन के एक और शहर पर रूस का कब्जा, मेयर को भी कर लिया अगवा; जेलेंस्की ने किया दावा

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रूस-यूक्रेन युद्ध की वजह से क्या आ सकती है वैश्विक मंदी?

रूसी सेनाएं तेजी से कीव को कब्जा करने की ओर बढ़ रही हैं और उससे पहले आसपास के शहरों पर वह नियंत्रण करने में जुटी है। इस बीच यूक्रेन ने आरोप लगाया है कि मेलिटोपोल पर कब्जा करने के साथ ही रूसी सेना ने शहर के मेयर इयान फेडोरोव को भी अगवा कर लिया है। यूक्रेन का कहना है कि फेडोरोव ने उनसे सहयोग करने से इनकार कर दिया था और उसके बाद उन्हें रूसी सेना ने अगवा कर लिया। राष्ट्रपति जेलेंस्की ने कहा कि मेयर को अगवा करना लोकतंत्र के खिलाफ है और वॉर क्राइम जैसा है।

राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने कहा, ‘मेलिटोपोल के मेयर की किडनैपिंग लोकतंत्र के खिलाफ युद्ध अपराध है। मैं बताना चाहता हूं कि रूस की इस हरकत के बारे में दुनिया के लोकतांत्रिक देशों के 100 फीसदी लोग जानेंगे।’ शनिवार को सुबह कीव में कई धमाकों की आवाज सुनी गई। शहर के बाहरी इलाकों इरपिन और होस्टोमेल में इस बीच कड़ा संघर्ष चल रहा है और रूसी सेना तेजी से आगे बढ़ रही है।

यूक्रेन के साथ संघर्ष में जेलेंस्की की ही रणनीति अपना ली है। रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने वॉलंटियर्स को यूक्रेन के युद्ध में जाने की मंजूरी दे दी है। रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे संघर्ष का आज 17वां दिन है और लगातार युद्ध जारी है। इसे लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन का कहना है कि युद्ध के चलते कोरोना वायरस के केसों में इजाफा हो सकता है। संस्था ने कहा कि इस युद्ध के चलते पलायन हो रहा है। यूक्रेन में वैक्सीनेशन का आंकड़ा बेहद कम है और उसके चलते दूसरे देशों में जाने वाले लोगों से कोरोना का विस्फोट हो सकता है।

वैश्विक मंदी?

 ‘स्टैगफ्लेशन’ और तेल की क़ीमतों पर असर

रूस और यूक्रेन में युद्ध के बीच दुनिया भर में अर्थव्यवस्था को लेकर भी चिंता जन्म ले रही है, मगर जानकारों का मानना है कि जंग के बावजूद इस साल वैश्विक अर्थव्यवस्था तरक्की की राह पर रहेगी. हालांकि उनका ये भी कहना है कि युद्ध का असर दुनिया के हर कोने में महसूस किया जाएगा.

लेकिन असर कितना बुरा रहेगा, ये इस बात पर निर्भर करता है कि युद्ध कितना लंबा खिंचता है, वैश्विक बाज़ार अभी जिस उथलपुथल से गुज़र रहा है वो कुछ समय की बात है या इसका असर लंबे वक्त तक रहेगा.

यहाँ हम ये समझने की कोशिश कर रहे हैं कि इस युद्ध का वैश्विक अर्थव्यवस्था पर कितना बड़ा असर पड़ेगा, और क्या इस कारण वैश्विक मंदी आ सकती है.

अलग जगहों पर अलग असर

ब्रिटेन में मौजूद कंसल्टेन्सी कंपनी ऑक्सफ़ोर्ड इकोनॉमिक्स के अनुसार रूस और यूक्रेन के लिए युद्ध का आर्थिक परिणाम ‘नाटकीय’ होगा लेकिन दुनिया के बाकी मुल्कों के लिए ये एक जैसा नहीं होगा.

ईंधन के मामले में पोलैंड अपनी ज़रूरत का आधा रूस से आयात करता है. वहीं तुर्की अपनी ज़रूरत का एक तिहाई कच्चा तेल रूस से लेता है.

इनके मुक़ाबले रूस के साथ अमेरिका का व्यापार उसके जीडीपी का केवल 0.5 फ़ीसदी है. चीन के लिए ये आंकड़ा 2.5 फ़ीसदी है. ऐसे में ये कहा जा सकता है कि इन दोनों पर रूस-यूक्रेन संकट का अधिक असर नहीं पड़ेगा.

ऑक्सफ़ोर्ड इकोनॉमिक्स में ग्लोबल मैक्रो रीसर्च के निदेशक बेन मे कहते हैं कि वैश्विक आर्थिक विकास की बात करें तो अनुमान लगाया जा रहा है कि युद्ध के कारण इसकी रफ़्तार 0.2 फ़ीसदी कम हो सकती है, यानी ये 4 फ़ीसदी से कम हो कर 3.8 फ़ीसदी रह सकती है.

वो कहते हैं, “लेकिन ये इस बात पर निर्भर करता है कि युद्ध कितना लंबा खिंचता है. स्पष्ट तौर पर अगर ये युद्ध अधिक दिन चला तो इसका असर भयानक हो सकता है.”

बढ़ेंगी खाद्यान्न की क़ीमतें

युद्ध का असर खाने के सामान की कीमतों पर भी पड़ सकता है, वो इसलिए क्योंकि रूस और यूक्रेन दोनों ही कृषि उत्पाद के मामले में आगे हैं.

स्टेलेनबॉश यूनवर्सिटी और जेपी मॉर्गन में कृषि अर्थशास्त्र में सीनियर रीसर्चर वेन्डिल शिलोबो के अनुसार दुनिया में गेहूं के उत्पादन का 14 फ़ीसदी रूस और यूक्रेन में होता है, और गेंहू के वैश्विक बाज़ार में 29 फ़ीसदी हिस्सा इन दोनों देशों का है. ये दोनों मुल्क मक्का और सूरजमुखी के तेल के उत्पादन में भी आगे हैं.

यहां से होने वाला निर्यात बाधित हुआ तो इसका असर मध्यपूर्व, अफ़्रीका और तुर्की पर पड़ेगा.

लेबनान, मिस्र और तुर्की गेहूं की अपनी ज़रूरत का बड़ा हिस्सा रूस या फिर यूक्रेन से खरीदते हैं. इनके अलावा सूडान, नाइज़ीरिया, तन्ज़ानिया, अल्ज़ीरिया, कीनिया और दक्षिण अफ्रीका भी अनाज की अपनी ज़रूरतों के लिए इन दोनों देशों पर निर्भर हैं.

दुनिया की बड़ी खाद कंपनियों में से एक यारा के प्रमुख स्वेन टोरे होलसेथर कहते हैं, “मेरे लिए सवाल ये नहीं है कि क्या वैश्विक स्तर पर खाद्य संकट पैदा हो सकता है, मेरे लिए सवाल है ये है कि ये संकट कितना बड़ा होगा.”

कच्चे तेल की कीमतों के कारण खाद की कीमतें पहले ही बढ़ गई हैं. खाद के मामले में भी रूस दुनिया के सबसे बड़े निर्यातकों में शुमार है.

होलसेथर ने बीबीसी को बताया, “इस मामले में युद्ध से पहले भी हम मुश्किल स्थिति में हैं. दुनिया की आधी आबादी को अनाज मिल पाने की एक बड़ी वजह है खाद. अगर आप खेती से खाद को हटा देंगे तो कृषि उत्पादन घटकर आधा रह जाएगा.”

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शार्क टैंक इंडिया के जज की कमाई जान कर रह जाएंगे आप हैरान

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डिजिटल भारत I शार्क टैंक एक बिजनेस रियलिटी टेलीविजन सीरीज है जो की ग्लोबाली एक बहुत ही पॉपुलर रियलिटी शो है. शार्क टैंक अब भारत ने भी आ गया है और यह सोनी टेलीविजन पर एयर किया जाता है. इसके अबतक कुल 17 एपिसोड्स टेलीकास्ट किए जा चुके हैं. बता दें, इस शो में कुल 7 खिलाड़ी हैं हम आपको बताएंगे. जानिए यह खिलाड़ी क्या करते हैं और कितनी है इनकी सालाना कमाई

अशनीर ग्रोवर

एक रिपोर्ट के अनुसार, ‘भारत पे’ के प्रबंध निदेशक और सह-संस्थापक अशनीर ग्रोवर की कुल संपत्ति तकरीबन 700 करोड़ रुपये है। वह शो के सबसे अमीर शार्क में से एक हैं।

अमन गुप्ता

2015 में स्थापित लोकप्रिय टेक ब्रांड ‘बोट’ के सह-संस्थापक और सीएमओ, अमन गुप्ता की अनुमानित संपत्ति 700 करोड़ रुपये की है। रिपोर्ट्स के मुताबिक अमन गुप्ता के पास बमर, शिपरॉकेट और अन्वेषन जैसी कंपनियों में भी शेयर हैं।

पीयूष बंसल

आईवियर के लिए एक ई-कॉमर्स पोर्टल ‘लेंसकार्ट’ के सीईओ की कुल संपत्ति 600 करोड़ रुपये बताई जा रही है। 36 वर्षीय पीयूष बंसल ने इनफेडो  और डेली ऑब्जेक्ट्स जैसी कंपनियों में भी निवेश किया है।

अनुपम मित्तल

अनुपम मित्तल ‘पीपल ग्रुप-शादी डॉट कॉम’ के संस्थापक और सीईओ (CEO) हैं. अनुपम मित्तल अब भारत के ई-कॉमर्स उद्योग में सबसे प्रसिद्ध शख्सियतों में से एक हैं.अनुपम मित्तल भारतीय रियलिटी टीवी शो शार्क टैंक्स इंडिया के शार्क (जज) में से एक हैं.अनुपम ने बॉस्टन कॉलेज, अमेरिका से अपनी पढ़ाई पूरी की. अनुपम की नेट वर्थ 185 करोड़ है.

नमिता थापर

नमिता थापर एक ग्लोबल फार्मा कंपनी Emcure Pharmaceutical की Executive Director हैं. उन्होंने USA की कई कंपनियों में इन्वेस्टमेंट किया है, और उन्हें बिजनेस वर्ल्ड में कई अवार्ड्स मिले हैं. इनकी नेट वर्थ 600 करोड़ है.

विनीता सिंह

विनीता सिंह SUGAR Cosmetics की और को-फाउंडर हैं.उन्होंने IIT और IIM से पढ़ाई की है. जिसके बाद उन्हें एक करोड़ रुपए का पैकेज मिला था. लेकिन उन्होंने अपना बिज़नेस शुरू किया और देश कि टॉप बिजनस वीमेन में शुमार हो गईं. विनीता सिंह की नेटवर्थ 59 करोड़ रुपए है

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जियो का प्रीपेड रिचार्ज भी हुआ महंगा

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टेलीकॉम कंपनी एयरटेल और वोडाफोन-आइडिया के बाद अब रिलायंस जियो ने भी अपने प्रीपेड प्लान्स की कीमतें बढ़ा दी हैं. जियो ने अपने टैरिफ में 21% की वृद्धि की है. रिचार्ज प्लान के नए रेट 1 दिसंबर से लागू होंगे. बीते हफ्ते ही भारती एयरटेल और वोडाफोन-आइडिया ने अपने टैरिफ प्लान्स की कीमतें बढ़ाने की घोषणा की थी.


कौन-सा रिचार्ज प्लान अब कितने का होगा?

रिलायंस जियो की घोषणा के मुताबिक उसके प्लान्स में 31 से लेकर 480 रुपये तक का इजाफा किया गया है. जियो फोन के लिए विशेष तौर पर लाए गए पुराने 75 रुपये के प्लान की नई कीमत अब 91 रुपये होगी. वहीं अनलिमिटेड प्लान के साथ आ रहा 129 रुपये वाला टैरिफ प्लान अब 155 रुपये में मिलेगा. जियो ने एक साल की वैधता वाले अपने प्लान के रेट में सबसे ज्यादा बढ़ोत्तरी की है. 2399 रुपये वाला यह प्रीपेड प्लान अब ग्राहकों को 2879 रुपये में मिलेगा.


डेटा एड-ऑन प्लान्स भी हुआ महंगा

रिलायंस जियो ने अपने डेटा एड-ऑन प्लान के रेट भी बढ़ाए हैं. अब ग्राहकों को 6 जीबी वाले 51 रुपये के प्लान के लिए 61 रुपये और 12 जीबी वाले 101 रुपये के प्लान के लिए 121 रुपये देने होंगे. डेटा एड-ऑन प्लान्स में जियो का सबसे बड़ा प्लान 50 जीबी डेटा का है, जिसकी अभी कीमत 251 रुपए है, लेकिन नई दरें लागू होने के बाद ग्राहकों को इसके लिए 301 रुपये खर्च करने पड़ेंगे.

बढ़ोत्तरी पर रिलायंस जियो ने क्या है?

अपने टैरिफ प्लान्स में बढ़ोतरी करते हुए रिलायंस जियो ने एक बयान जारी किया है. कंपनी ने कहा है

हम अपनी उस प्रतिबद्धता पर अटल हैं कि एक स्थायी दूरसंचार उद्योग को और मजबूत करेंगे, जहां हर भारतीय एक सच्ची डिजिटल लाइफ के साथ सशक्त होगा. Jio ने आज अपने नए अनलिमिटेड प्लान्स की घोषणा की है. ये नए प्लान्स टेलीकॉम इंडस्ट्री में सबसे अच्छी सेवा प्रदान करेंगे. Jio का पूरी दुनिया में सबसे कम रेट पर सबसे बेहतर सेवा देने का वादा है, इससे हमारे ग्राहकों को सबसे ज्यादा फायदा मिलता रहेगा.”

एयरटेल और वोडाफोन-आइडिया ने कितने दाम बढ़ाए थे?

एयरटेल और वोडाफोन-आइडिया की बात करें तो बीते 22 नवंबर को एयरटेल ने अपने सभी प्रीपेड प्लान्स की दरों में 20-25 प्रतिशत की बढ़ोतरी की थी. एयरटेल की नई दरें शुक्रवार 26 नवंबर से लागू हो गईं. एयरटेल की घोषणा के अगले दिन यानी 23 नवंबर को वोडाफोन-आइडिया ने अपने टैरिफ प्लान्स की दरों में बढ़ोतरी का ऐलान कर दिया था. उसने भी अपने प्रीपेड प्लान्स की दरों में 20-25% की बढ़ोत्तरी की थी. वोडाफोन की बढ़ी हुई दरें 25 नवंबर से लागू हो गईं.


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क्रिप्टो करन्सी के बारे में कुछ अहम् तत्व

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अगर आपने Cryptocurrency में निवेश किया हुआ है और बेसब्री से इस बात का इंतजार कर रहे हैं कि भारत सरकार Cryptocurrency पर लाए जा रहे नए कानूनों में क्या प्रावधान कर सकती है? सूत्रों के मुताबिक सरकार क्रिप्टो के लिए विवाद से विश्वास जैसी कोई योजना ला सकती है. यानी कुछ ऐसी व्यवस्था बनाई जा सकती है जिससे भारत में Cryptocurrency के चलन को ज्यादा विश्वसनीय बनाया जा सके और धोखाधड़ी की संभावना कम हो जाए.

प्राइवेट Cryptocurrency पर लग सकती है रोक

इसके अलावा Cryptocurrency जिस तकनीक पर आधारित होती है उसके विकास पर रोक का कोई सुझाव इस नए बिल में नहीं होगा. Cryptocurrency का निर्माण Block Chain तकनीक पर आधारित होता है. यानी सरकार प्राइवेट Cryptocurrency पर तो रोक लगा सकती है लेकिन इसकी तकनीक पर पाबंदी लगाने का कोई विचार नहीं है क्योंकि बहुत सुरक्षित माने जाने वाली इस तकनीक का इस्तेमाल कई और क्षेत्रों में किया जा सकता है.

इसके अलावा अगर गिनी चुनी प्राइवेट Cryptocurrency को मान्यता दी भी गई तो उस पर पूरा नियंत्रण Reserve Bank Of India के हाथ में ही होगा और RBI के निर्णय को ही आखिरी माना जाएगा. सूत्रों के मुताबिक, Cryptocurrency पर लाए जा रहे बिल में सरकारी, प्राइवेट या मान्यता प्राप्त जैसे शब्द का प्रयोग नहीं किया गया है.

बिल में हो सकते हैं ये प्रावधान

Cryptocurrency किसे माना जाएगा इसके लिए बिल में कुछ पैमाने तय किए जा सकते हैं. इस बिल के मुताबिक जो करेंसी क्रिप्टो के पैमाने पर खरी पाई जाएगी उसे Cryptocurrency माना जाएगा. अभी बहुत सारी Cryptocurrencies ऐसी हैं जिनकी तकनीक और विश्वसनीयता के बारे में किसी को कोई जानकारी नहीं है. ऐसे में उन तमाम Currencies को बाहर किया जा सकता है, जो भरोसा करने के लायक नहीं हैं. अगर ये खबर सही है तो हो सकता है कि भारत में कुछ बड़ी Cryptocurrencies को इजाजत दे दी जाए. लेकिन जब ये बिल संसद में पेश होगा तभी ये स्पष्ट होगा कि वाकई कुछ Cryptocurrencies को अपवाद माना जाएगा या सभी Private Cryptocurrencies को प्रतिबंधित कर दिया जाएगा.

सर्वे में जब लोगों से पूछा गया कि उन्हें क्रिप्टो करेंसी पर कितना विश्वास है तो सिर्फ 1 प्रतिशत लोगों ने इस पर भरोसा जताया. जबकि 71 प्रतिशत लोगों ने कहा कि उन्हें क्रिप्टो करेंसी पर बहुत कम या जरा सा भी यकीन नहीं है.

आजकल भारत में क्रिप्टो करेंसी (Cryptocurrency) पर प्रतिबंध की खबर काफी चर्चा में है. बहुत सारे लोगों की तरफ से ये माहौल बनाया जा रहा है कि भारत के लोग क्रिप्टो करेंसी पर बैन के पक्ष में नहीं हैं और सरकार को इसका ध्यान रखना चाहिए. लेकिन हाल ही में हुआ एक सर्वे कुछ और कहानी बताता है. इस सर्वे के मुताबिक भारत के 54 प्रतिशत यानी आधे से ज्यादा लोग ये मानते हैं कि भारत में क्रिप्टो को मान्यता नहीं दी जानी चाहिए.

भारत में 54 प्रतिशत लोग, ये भी मानते हैं कि जिन लोगों के पास क्रिप्टो करेंसी (Cryptocurrency) है उन पर इसे विदेश में रखी संपत्ति मानकर टैक्स लगाया जाना चाहिए. जबकि 26 प्रतिशत भारतीयों का मानना है कि Crypto को मान्यता दी जानी चाहिए और इस पर भारत में टैक्स लगाया जाना चाहिए. इसी सर्वे में 51 प्रतिशत लोगों ने माना है कि वो रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (Resreve Bank Of India) द्वारा सरकारी क्रिप्टो करेंसी के लॉन्च होने का इंतजार कर रहे हैं.

सिर्फ 1 प्रतिशत लोगों को विश्वास

इस सर्वे में जब लोगों से पूछा गया कि उन्हें क्रिप्टो करेंसी पर कितना विश्वास है तो सिर्फ 1 प्रतिशत लोगों ने इस पर बहुत ज्यादा भरोसा जताया. जबकि 71 प्रतिशत लोगों ने कहा कि उन्हें क्रिप्टो करेंसी पर बहुत कम या जरा सा भी यकीन नहीं है. ये सर्वे कहता है कि भारत में 87 प्रतिशत परिवारों के पास किसी भी तरह की ना तो क्रिप्टो करेंसी है और ना ही उन्होंने इसमें किसी भी प्रकार का निवेश किया है. ये सर्वे पिछले 15 दिनों के दौरान किया गया है, जिसमें भारत के 342 जिलों के 56 हजार से ज्यादा लोग शामिल थे. इनमें से 76 प्रतिशत लोगों का ये भी मानना है कि क्रिप्टो करेंसी के विज्ञापनों पर रोक लगनी चाहिए और 74 प्रतिशत लोगों का कहना है कि ये विज्ञापन भ्रामक हैं और इनमें क्रिप्टो की खतरों के बारे में ठीक से नहीं बताया जाता.

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बढ़ोत्तरी और मंद पड़ती इकोनॉमी ने बाजार पर अपना असर दिखाया, बाजार में लगातार दूसरे दिन रही गिरावट

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मेटल ने अपना जलवा दिखाया। बाजार में आज पावर, रियल्टी, पावर इंडेक्स 11 साल के ऊपरी स्तर पर बंद हुआ

ट्रेजरी ईल्ड में हो रही बढ़ोत्तरी और मंद पड़ती इकोनॉमी ने बाजार पर अपना असर दिखाया। लेकिन दिन के कारोबार के दौरान यूरोपियन और अमेरिकन बाजारों में सुधार आता दिखा और क्रूड की कीमतें भी स्थिर होती दिखीं। जिसके चलते देश के ग्रोथ ओरिएंटेड सेक्टरों लेकिन निजी बैंकों और खपत वाले शेयरों में बिकवाली बनी रही।

निफ्टी ने आज डेली स्केल पर दोनों तरफ लॉन्गर शैडो के साथ एक छोटे आकार का बुलिश कैंडल बनाया। ये इस बात का संकेत है कि बुल्स और बियर में खींच-तान हो रही है। निफ्टी को 17,850 -18,000 के जोन में जानें के लिए 17700 के ऊपर टिके रहना होगा। इसके लिए 17,600-17,580 के जोन में सपोर्ट नजर आ रहा है

कमजोर ओपनिंग के बाद निफ्टी अधिकतम रिकवरी के साथ  17,700 के ऊपर बंद होने में कामयाब रहा। आज के कारोबार में निफ्टी में 0.2 फीसदी की मामूली गिरावट देखने को मिली है। वहीं, बैंक निफ्टी 202 अंकों की गिरावट के साथ 37,743  के स्तर पर बंद हुआ है।

टेक्निकली इंडेक्स मिडिल बेलिंगर बैंड फॉर्मेशन के ऊपर चक्कर लगा रहा है। इसके साथ ही ये 50-SMA के ऊपर मूव कर रहा है। जो काउंटर में बुलिश पैटर्न का संकेत है। इसके Stochastic में भी index के लिए पॉजिटिव क्रॉसओवर देखने को मिला है। निफ्टी के लिए 17500 पर इमीडिएट सपोर्ट है। वहीं, 17,900/17,950 पर रजिस्टेंस नजर आ रहा है।

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व्हाट्सऐप 5 डिवाइस में बिना इंटरनेट चलेगा, जानिए Whatsapp मैसेंजर का नया फीचर

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वाट्सएप का उपयोग करने के लिए आपके फोन को अब ऑनलाइन रहने की आवश्यकता नहीं होगी.

दिल्ली. व्हाट्सऐप मल्टी-डिवाइस सपोर्ट पिछले कुछ वर्षों में मैसेजिंग प्लेटफॉर्म द्वारा पेश किए गए सबसे बड़े बदलावों में से एक है. नया मल्टी-डिवाइस सपोर्ट कई यूजर्स के लिए लंबे समय से चली आ रही समस्या का समाधान करेगा. मल्टी-डिवाइस सपोर्ट की मदद से व्हाट्सऐप यूजर्स एक साथ विभिन्न डिवाइस पर प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल कर सकते हैं, वो भी बिना प्राइमरी डिवाइस को इंटरनेट से कनेक्ट करे. यूजर्स के पर्सनल मैसेज, मीडिया और कॉल एंड-टू-एंड एन्क्रिप्टेड रहेंगे.

यह फीचर जल्द ही सभी यूजर्स के लिए उपलब्ध होगा, हालांकि अभी एप्लिकेशन टेस्टर्स को समय से पहले इसे आजमाने की अनुमति देता है. मल्टी-डिवाइस बीटा एक ऑप्ट-इन प्रोग्राम है जो आपको वेब, डेस्कटॉप और पोर्टल के लिए व्हाट्सऐप के नए वर्जन को आजमाने के लिए अर्ली एक्सेस प्रदान करता है.

एलिजिबिलिटी
व्हाट्सऐप और व्हाट्सऐप बिजनेस ऐप बीटा यूजर्स एंड्रायड और आईफोन पर व्हाट्सऐप बीटा के नए वर्ज़न का इस्तेमाल कर रहे हैं. यह फीचर सीमित देशों में व्हाट्सऐप और व्हाट्सऐप बिजनेस ऐप यूजर्स के लिए उपलब्ध होगा. हालांकि, मल्टी-डिवाइस बीटा दुनिया भर में जारी किया जाएगा.

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EPFO

EPFO जारी कर सकता है ब्याज की रकम

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कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) दिवाली से पहले अपने 6 करोड़ से अधिक सदस्यों को खुश होने का मौका दे सकता है। ईपीएफओ वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए ब्याज दर दिवाली से पहले जारी कर सकता है। नाम न बताने के शर्त पर अधिकारियों ने बताया यह सरकारी कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को उनके महंगाई भत्ते और महंगाई राहत वृद्धि के साथ मिल जाएगा।
लाइव मिंट की खबर के मुताबिक इनमें से एक अधिकारी ने कहा कि ईपीएफओ के केंद्रीय बोर्ड ने ब्याज में बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी है और रिटायरमेंट फंड मैनेजर ने वित्त मंत्रालय की मंजूरी मांगी है और जल्द ही इसे मंजूरी मिलने की उम्मीद है। हालांकि कुछ लोगों का तर्क है कि वित्त मंत्रालय की मंजूरी सिर्फ प्रोटोकॉल का मामला है, ईपीएफओ इसकी मंजूरी के बिना ब्याज दर को क्रेडिट नहीं कर सकता है। दूसरे अधिकारी ने कहा, “पिछले डेढ़ साल वेतनभोगी वर्ग सहित मजदूर वर्ग के लिए कठिन रहे। अब दिवाली तक अपेक्षित भुगतान से उनका मूड खुश हो जाएगा।”
बोर्ड ने वित्त वर्ष 2021 के लिए 8.5% भुगतान की सिफारिश की थी। जब ब्याज के बारे में निर्णय किए गए, तो सभी कारकों को ध्यान में रखा गया। ईपीएफओ ने पिछले वित्त वर्ष में लगभग 70,300 करोड़ रुपये की इनकम का अनुमान लगाया है, जिसमें उसके इक्विटी निवेश के एक हिस्से को बेचने से लगभग 4,000 करोड़ रुपए शामिल हैं। 2020 में कोविड-19 के प्रकोप के बाद ईपीएफओ ने मार्च 2020 में पीएफ ब्याज दर को घटाकर 8.5 फीसद कर दिया था, जो पिछले 7 वर्षों में यह सबसे कम है। बता दें वित्त वर्ष 2018-19 में ब्याज दर 8.65 फीसद था, हालांकि वित्त वर्ष 2017-18 में यह महज 8.55 फीसद ही था, जबकि वित्त वर्ष 2019-20 के लिए यह 8.5 फीसद है।

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