इस्लामाबाद । पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान का कहना है कि 9 मई को उनकी गिरफ्तारी और हिंसा के बाद सेना के साथ कोई भी बातचीत नहीं हुई है। इस दौरान वह सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर पर बरसे। गुरुवार को उन्होंने एक इंटरव्यू में कहा, ‘मौजूदा सेना प्रमुख को साफ तौर पर मुझसे कुछ समस्या है। मुझे नहीं पता कि भविष्य में क्या होगा, लेकिन अभी कोई संवाद नहीं हुआ है।’ इमरान खान ने जब यह आरोप लगाया था कि नवंबर में हुए हमले के पीछे सेना के एक अधिकारी का हाथ है तो उसके कुछ घंटों में ही उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था।सुप्रीम कोर्ट ने बाद में गिरफ्तारी को अवैध घोषित कर दिया। इमरान खान का कहना है कि शहबाज शरीफ के नेतृत्व वाली पीडीएम सरकार चुनाव से डरती है। उन्हें डर है कि अगर चुनाव हुए तो वह हार जाएंगे। उन्होंने कहा, ‘हमारी पार्टी पर पिछले एक वर्ष से कड़ी कार्रवाई हो रही है। मुझे पूर्व सेना प्रमुख ने साजिश के माध्यम से हटा दिया था।’ इसके अलावा उन्होंने कहा कि पिछले हफ्ते हुई हिंसा एक साजिश है। 19 वरिष्ठ पीटीआई नेताओं समेत लगभग 7000 लोगों को हिरासत में लिया गया है।
इमरान को लेकर पाकिस्तान के गृह मंत्री राणा सनाउल्लाह ने कहा, ‘यह आतंकवाद और भीड़भाड़ पूर्व नियोजित थी।’ हिंसा के दौरान सैन्य प्रतिष्ठानों पर भी हमला हुआ था। सेना ने सैन्य प्रतिष्ठानों पर हमला करने वालों के खिलाफ मिलिट्री कोर्ट में मुकदमा चलाने की बात कही है। रिपोर्ट्स के मुताबिक तीन कोर्ट बनाए जाएंगें। इमरान ने कहा कि जिन लोगों ने हिंसा फैलाई है वह हमारी पार्टी से नहीं जुड़े हुए हैं। इमरान ने कहा है कि उनकी पार्टी को जितना दबाया जाएगा उतना ही उसका वोट बैंक बढ़ेगा।पंजाब की अंतरिम सरकार ने शुक्रवार को कहा कि वह पाकिस्तान तहरीक ए इंसाफ पार्टी के अध्यक्ष के साथ कोई समझौता नहीं कर सकी है। लाहौर में इमरान खान के आवास को पुलिस ने घेर रखा था। पुलिस का कहना था कि इमरान के घर में आतंकी छिपे हुए हैं। इमरान से मिल कर जब पुलिस ने छापे मारने के बारे में पूछा तो उन्होंने साफ मना कर दिया। इमरान ने कहा है कि पुलिस को मेरे घर में सिर्फ चाय और बिस्किट मिले हैं, उन्हें कोई आतंकी नहीं मिले।